Download Today Current Affairs PDF
देशभर में चल रहे ‘स्वच्छता ही सेवा’ (SHS) 2024 पखवाड़े के तहत, आवासन एवं शहरी कार्य मंत्रालय (MoHUA) ने iGOT कर्मयोगी भारत प्लेटफॉर्म पर स्वच्छता ही सेवा (SHS) 2024 पाठ्यक्रम की शुरुआत की। यह पाठ्यक्रम राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों के अधिकारियों, शहरी स्थानीय निकायों के प्रतिनिधियों, सफाई मित्रों, और नागरिकों को स्वच्छता संबंधी पहलों को बढ़ावा देने के लिए आवश्यक जानकारी और कौशल से दक्ष करने का महत्वपूर्ण कदम है।
कर्मयोगी भारत :
कर्मयोगी भारत एक स्पेशल पर्पस व्हीकल (एस.पी.वी.) है, जिसे कंपनी अधिनियम, 2013 की धारा 8 के तहत सरकारी स्वामित्व वाली गैर-लाभकारी कंपनी के रूप में शामिल किया गया है। इसका मुख्य उद्देश्य आईगॉट कर्मयोगी प्लेटफॉर्म का संचालन और प्रबंधन करना है, जो सिविल सेवा अधिकारियों के लिए उनकी क्षमता बढ़ाने हेतु किसी भी समय, कहीं-भी, और किसी-भी उपकरण से सीखने की सुविधा प्रदान करता है।
मुख्य विशेषताएँ: सदस्यता-आधारित राजस्व मॉडल: एस.पी.वी. सरकारी डिजिटल परिसंपत्तियों का स्वामित्व, प्रबंधन, रखरखाव और सुधार करती है, जिसमें सॉफ्टवेयर, कंटेंट, प्रक्रिया आदि के आईपीआर शामिल हैं।
विजन: एक मजबूत डिजिटल ईकोसिस्टम स्थापित करना जो भारतीय सिविल सेवा क्षमता निर्माण के परिदृश्य को बेहतर बनाता है और अधिकारियों को भविष्य के लिए तैयार करने में निरंतर सीखने में सक्षम बनाता है।
मिशन: सिविल सेवा अधिकारियों के लिए एक ऑल-इन-वन ऑनलाइन प्लेटफॉर्म बनाना, जो:
- सीखने का मार्गदर्शन करता है।
- चर्चाओं की मेज़बानी करता है।
- करियर प्रबंधन में मदद करता है।
- अधिकारियों की क्षमता को प्रभावी ढंग से प्रदर्शित करने के लिए विश्वसनीय मूल्यांकन करता है।
कर्मयोगी भारत के प्रमुख कार्य:
- डिजिटल प्लेटफॉर्म का प्रबंधन: डिजिटल प्लेटफॉर्म और इंफ्रास्ट्रक्चर की डिजाइन, कार्यान्वयन, बढ़ोतरी और प्रबंधन करना।
- आईपीआर प्रबंधन: सरकार की ओर से बनाई गई सभी संसाधनों के आईपीआर का प्रबंधन और दायित्व लेना।
- सामग्री विकास: आंतरिक रूप से सामग्री बनाना, खरीदना, स्रोत बनाना और संबंधित पक्षों द्वारा आईगॉट कर्मयोगी पर सामग्री का सत्यापन सुनिश्चित करना।
- आकलन सेवाएँ: प्रॉक्टर्ड आकलन सेवाओं का प्रबंधन और उपलब्ध कराना।
- डेटा गवर्नेंस: टेलीमेट्री डेटा के गवर्नेंस को संचालित करना और चिह्नित अधिकारियों को डेटा/विश्लेषण उपलब्ध कराना।
- गुणवत्ता जांच: सरकार या आयोग द्वारा जारी प्रासंगिक दिशानिर्देशों और विनियमों का पालन और सुधार के लिए समय-समय पर गुणवत्ता जांच।
- शिकायत प्रबंधन: बिना रुकावट संचालन के लिए एक मजबूत शिकायत प्रबंधन तंत्र उपलब्ध कराना।
- उपापन प्रक्रिया: सरकार के प्रासंगिक मानदंडों और दिशानिर्देशों का अनुपालन करते हुए उपापन (प्रोक्योरमेंट) करना।
- सूचना का संप्रेषण: डीओपीटी को सभी प्रासंगिक जानकारी देना ताकि संसदीय निरीक्षण और सीएजी निरीक्षण को जवाब दिया जा सके और NPCSCB के लिए एक प्रभावी तथा सहयोगी भूमिका निभाई जा सके।
निष्कर्ष: कर्मयोगी भारत सिविल सेवा अधिकारियों के लिए सीखने और विकास के नए अवसर प्रदान करता है, जिससे वे अपनी क्षमताओं को और भी निखार सकें। यह पहल न केवल सिविल सेवा में सुधार लाने में मदद करेगी, बल्कि अधिकारियों को एक प्रतिस्पर्धात्मक और सहयोगी वातावरण में काम करने के लिए तैयार करेगी।
Explore our Books: https://apnipathshala.com/product-category/books/
Explore Our test Series: https://tests.apnipathshala.com/