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भारत और स्पेन के द्विपक्षीय संबंध हाल ही में चर्चा में हैं क्योंकि स्पेन के प्रधानमंत्री पेड्रो सांचेज़ 28 से 30 अक्टूबर 2024 तक भारत की यात्रा पर रहेंगे, जो पिछले 18 वर्षों में किसी स्पेनिश प्रधानमंत्री की पहली यात्रा होगी।
भारत और स्पेन ऐतिहासिक संबंध:
भारत और स्पेन ने 1956 में राजनयिक संबंध स्थापित किए। सीमित ऐतिहासिक संपर्क के बावजूद, दोनों देशों के बीच साझा लोकतांत्रिक मूल्य, वैश्विक शांति के प्रति प्रतिबद्धता और बहुसंस्कृतिवाद के प्रति सम्मान ने द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत आधार प्रदान किया। उच्च स्तरीय यात्राओं से पिछले कुछ वर्षों में यह संबंध और भी सुदृढ़ हुआ है।
द्विपक्षीय व्यापार: स्पेन, यूरोपीय संघ में भारत का छठा सबसे बड़ा व्यापार साझेदार है।
- कुल व्यापार (2023) : 8.25 बिलियन अमेरिकी डॉलर (4.2% की वृद्धि)।
- स्पेन को भारत का निर्यात : 6.33 बिलियन अमेरिकी डॉलर (5.2% की वृद्धि)।
- स्पेन से भारत का आयात : 1.92 बिलियन अमेरिकी डॉलर (1.05% की वृद्धि)।
- मुख्य भारतीय निर्यात : खनिज ईंधन, रासायनिक उत्पाद, लोहा और इस्पात, विद्युत मशीनरी, परिधान, परमाणु रिएक्टर, समुद्री उत्पाद आदि।
प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI):
- भारत में स्पेनिश FDI : 3.94 बिलियन अमेरिकी डॉलर (अप्रैल 2000 – दिसंबर 2023), जिससे स्पेन भारत का 16वां सबसे बड़ा निवेशक है।
- भारत में लगभग 280 स्पेनिश कंपनियां कार्यरत हैं, जिनका मुख्य ध्यान धातुकर्म, नवीकरणीय ऊर्जा, ऑटोमोटिव, सिरेमिक और बुनियादी ढांचे पर है।
- स्पेन में भारतीय FDI : लगभग 900 मिलियन अमेरिकी डॉलर; स्पेन में 80 भारतीय कंपनियां मुख्यतः सॉफ्टवेयर एवं आईटी सेवाओं, फार्मास्यूटिकल्स, रसायन और लॉजिस्टिक्स में कार्यरत हैं।
व्यापार और आर्थिक सहयोग:
- भारत-स्पेन संयुक्त आर्थिक सहयोग आयोग (JCEC) : 1972 में स्थापित; इसकी 12वीं बैठक अप्रैल 2023 में नई दिल्ली में आयोजित हुई थी।
- भारत-स्पेन CEO फोरम : 2015 में स्थापित; पहली बैठक मई 2017 में मैड्रिड में हुई थी।
सामरिक महत्व और सहयोग: भारत और स्पेन के सामरिक संबंधों में रक्षा, आतंकवाद-निरोध और साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में बढ़ता सहयोग शामिल है।
- रक्षा : स्पेन भारत के रक्षा आधुनिकीकरण में एक महत्वपूर्ण भागीदार है, विशेषकर एयरोस्पेस और नौसेना प्रौद्योगिकी में। स्पेनिश कंपनियां पनडुब्बी प्रौद्योगिकी हस्तांतरण और सैन्य विमानन के क्षेत्र में भी भारत के साथ सहयोग कर रही हैं।
- आतंकवाद विरोध : दोनों देश वैश्विक आतंकवाद के मुद्दे पर आपसी चिंताओं को साझा करते हैं और खुफिया जानकारी का आदान-प्रदान करते हुए आतंकवाद-निरोध में सहयोग करते हैं।
- सतत विकास और जलवायु परिवर्तन : दोनों देशों ने पेरिस समझौते के प्रति प्रतिबद्धता व्यक्त की है और नवीकरणीय ऊर्जा के क्षेत्र में स्पेन की विशेषज्ञता भारत के स्वच्छ ऊर्जा लक्ष्यों के लिए सहायक है।
सामान्य समूह और बहुपक्षीय सहयोग:
- संयुक्त राष्ट्र (UN): भारत और स्पेन वैश्विक शांति, सतत विकास और मानवीय सहायता के मुद्दों पर एकजुटता से काम करते हैं।
- जी-20: भारत और स्पेन, दोनों जी-20 के सक्रिय सदस्य हैं, जो वैश्विक आर्थिक चुनौतियों, व्यापार सुधार, और जलवायु कार्रवाई के प्रति प्रतिबद्धता जताते हैं।
- अंतर्राष्ट्रीय सौर गठबंधन (ISA): स्पेन आईएसए का सदस्य है, और वह भारत की सौर ऊर्जा और सतत विकास पहल में योगदान दे रहा है।
स्पेन में प्रवासी भारतीय: स्पेन में भारतीय समुदाय अपेक्षाकृत छोटा लेकिन बढ़ता हुआ है, जिसका विभिन्न क्षेत्रों में योगदान हो रहा है।
- जनसंख्या: 2023 तक, लगभग 55,000 भारतीय स्पेन में रहते हैं और आतिथ्य, खुदरा, आईटी, और स्वास्थ्य सेवा जैसे क्षेत्रों में सक्रिय रूप से कार्यरत हैं।
स्पेन के प्रधानमंत्री पेड्रो सांचेज़ की भारत यात्रा :
स्पेन के प्रधानमंत्री पेड्रो सांचेज़ 28 से 30 अक्टूबर 2024 तक भारत की यात्रा पर रहेंगे, जो पिछले 18 वर्षों में किसी स्पेनिश प्रधानमंत्री की पहली यात्रा होगी। इस यात्रा का मुख्य आकर्षण वडोदरा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ उनकी द्विपक्षीय वार्ता और सी295 सामरिक परिवहन विमान के लिए फाइनल असेंबली लाइन (एफएएल) संयंत्र का उद्घाटन है।
- एफएएल संयंत्र का उद्देश्य: टाटा एडवांस्ड सिस्टम लिमिटेड (TASL) और एयरबस डिफेंस एंड स्पेस के बीच साझेदारी के तहत स्थापित, यह भारत की पहली निजी सैन्य परिवहन विमान उत्पादन सुविधा है।
- अनुबंध: इस $2.5 बिलियन के अनुबंध के तहत भारत को 56 सी295 विमान मिलेंगे, जिनमें से पहले 16 विमान स्पेन से आएंगे, जबकि शेष 40 विमान वडोदरा में असेंबल किए जाएंगे। संयंत्र से 2026 में पहला “मेड-इन-इंडिया” C295 विमान उत्पादन में आएगा, और 2031 तक सभी विमानों की आपूर्ति पूरी होने की उम्मीद है।
- औद्योगिक पारिस्थितिकी तंत्र: परियोजना का उद्देश्य भारत में एयरोस्पेस विनिर्माण में एक पूर्ण औद्योगिक पारिस्थितिकी तंत्र का निर्माण करना है, जिसमें भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड, भारत डायनेमिक्स लिमिटेड और एमएसएमई कंपनियां शामिल होंगी।
सांचेज़ अपनी यात्रा के दौरान मुंबई भी जाएंगे, जहां वे व्यापार, मीडिया, और मनोरंजन क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने के लिए उद्योग जगत के नेताओं और फिल्मी हस्तियों से मुलाकात करेंगे। दोनों देशों के बीच व्यापार, आईटी, बुनियादी ढांचे, नवीकरणीय ऊर्जा, रक्षा, फार्मा और पर्यटन में सहयोग को आगे बढ़ाने के लिए कई समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर होने की उम्मीद है।
निष्कर्ष: यह दौरा भारत और स्पेन के बीच रणनीतिक संबंधों को एक नया आयाम देगा, जिसमें औद्योगिक सहयोग, आर्थिक साझेदारी, और सांस्कृतिक आदान-प्रदान को बढ़ावा मिलेगा।
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