National Fish Farmers Day
National Fish Farmers Day –
संदर्भ:
भारत में पिछले 11 वर्षों में मछली उत्पादन में उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज की गई है, जो 95.79 लाख टन से बढ़कर 195 लाख टन हो गया है। इस दोगुनी वृद्धि का श्रेय केंद्र सरकार द्वारा शुरू की गई ‘नीली क्रांति‘ (Blue Revolution) को दिया जा रहा है, जिसने देश में मत्स्य पालन क्षेत्र को संरचित, तकनीक–सक्षम और रोजगारोन्मुख बनाने में अहम भूमिका निभाई है।
- 10 जुलाई 2025 को ICAR-CIFA भुवनेश्वर में राष्ट्रीय मत्स्य कृषक दिवस मनाया गया।
भारत में मत्स्य पालन और जलीय कृषि: वृद्धि और उपलब्धियाँ
अंतर्देशीय मत्स्य पालन और जलीय कृषि:
- 140% वृद्धि दर्ज, जो भारत के मीठे जल संसाधनों के कुशल उपयोग को दर्शाता है।
झींगा (Shrimp) उत्पादन और निर्यात:
- पिछले दशक में 270% वृद्धि।
- समुद्री खाद्य (Seafood) निर्यात ₹60,500 करोड़ के पार।
- भारत विश्व में झींगा निर्यात में नेतृत्वकर्ता बना रहा।
प्रमुख पहलें (Key Initiatives):
- 34 मत्स्य क्लस्टर (Fisheries Clusters)
- 17 नए क्लस्टर हाल ही में शुरू किए गए।
- प्रमुख उदाहरण:
- पर्ल क्लस्टर – हजारीबाग (झारखंड)
- सीवीड क्लस्टर – लक्षद्वीप
- तिलापिया क्लस्टर – छत्तीसगढ़
- खारे जल क्लस्टर – आंध्र प्रदेश
- ICAR प्रशिक्षण कैलेंडर:
- बीज प्रमाणीकरण (Seed Certification) और हैचरी संचालन दिशानिर्देशों (Hatchery Guidelines) के साथ गुणवत्ता और मानकीकरण सुनिश्चित करना।
ब्लू रिवॉल्यूशन (Blue Revolution):
- इसका उद्देश्य: मछली उत्पादन में तेज़ और सतत वृद्धि।
- मत्स्यपालकों और मछुआरों की आजीविका में सुधार।
- यह पहल सागरीय और अंतर्देशीय दोनों क्षेत्रों में मछली उत्पादन को बढ़ाने और नीली अर्थव्यवस्था (Blue Economy) को गति देने की दिशा में एक प्रमुख कदम है।