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हाल ही में 10 नवंबर को विश्व टीकाकरण दिवस (World Immunization Day) मनाया गया, जिसका उद्देश्य संक्रामक बीमारियों से बचाव और जनस्वास्थ्य की सुरक्षा में टीकों की महत्वपूर्ण भूमिका के प्रति जागरूकता बढ़ाना है।
विश्व टीकाकरण दिवस (World Immunization Day) का परिचय
- मनाने की तिथि: 10 नवंबर प्रतिवर्ष
- उद्देश्य: टीकाकरण के महत्वपूर्ण योगदान को उजागर करना
- लक्ष्य: टीकों की सार्वभौमिक पहुँच को बढ़ावा देना और बीमारियों की रोकथाम तथा जीवन रक्षा में टीकाकरण के महत्व के प्रति जागरूकता फैलाना
2024 की थीम:
“सबके लिए टीके: समुदायों की सुरक्षा और स्वास्थ्य समानता का निर्माण”
- उद्देश्य: विशेष रूप से सेवा-वंचित और दूरस्थ क्षेत्रों में टीकों को सुलभ, स्वीकार्य और उपलब्ध बनाना
टीकाकरण क्या है?
टीकाकरण एक प्रक्रिया है जिसमें किसी व्यक्ति को संक्रामक बीमारी के प्रति प्रतिरोधी बनाने के लिए टीका लगाया जाता है, ताकि उसकी प्रतिरक्षा प्रणाली मजबूत हो सके।
भारत में टीकाकरण से जुड़े प्रमुख तथ्य
भारत के प्रमुख टीकाकरण कार्यक्रम:
- सर्वव्यापी टीकाकरण कार्यक्रम (UIP):
- 1978 में विस्तारित टीकाकरण कार्यक्रम के रूप में शुरू किया गया और 1985 में इसे सर्वव्यापी टीकाकरण कार्यक्रम का नाम दिया गया।
- 1992 में, इसे बाल जीवितता और सुरक्षित मातृत्व कार्यक्रम में और 1997 में राष्ट्रीय प्रजनन और बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम में शामिल किया गया।
- 2005 से, राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन के तहत इस कार्यक्रम का उद्देश्य दूरदराज के क्षेत्रों तक टीके पहुंचाना रहा है।
- FY 2023-24 के लिए पूर्ण टीकाकरण कवरेज 23% है।
- मिशन इंद्रधनुष (MI):
- दिसंबर 2014 में लॉन्च किया गया, इसका उद्देश्य 90% पूर्ण टीकाकरण कवरेज प्राप्त करना है।
- यह कम टीकाकरण दर वाले क्षेत्रों, विशेषकर कठिनाई से पहुंचने वाले और आंशिक रूप से टीकाकृत बच्चों वाले समुदायों पर केंद्रित है।
- यू-विन पोर्टल:
- यह डिजिटल मंच टीका वितरण और रिकॉर्ड-कीपिंग को सरल बनाता है, जिससे टीकाकरण रिकॉर्ड्स तक आसानी से पहुंच और प्रबंधन संभव होता है।
- इसमें ‘कभी भी, कहीं भी’ टीकाकरण की सुविधा है, जिससे लाभार्थियों के लिए लचीली समय-सारणी के विकल्प मिलते हैं।
- यह सार्वभौमिक QR-आधारित ई-टीकाकरण प्रमाणपत्र और आयुष्मान भारत स्वास्थ्य खाता (ABHA) ID बनाने का विकल्प भी प्रदान करता है।
जनस्वास्थ्य में प्रमुख उपलब्धियाँ
- COVID-19 टीकाकरण:
- 16 जनवरी 2021 से 6 जनवरी 2023 तक भारत में 220 करोड़ से अधिक खुराकें दी गईं, जिसमें 97% योग्य नागरिकों को कम से कम एक खुराक और 90% को दोनों खुराकें दी गईं।
- पोलियो उन्मूलन:
- भारत को मार्च 2014 में पोलियो-मुक्त घोषित किया गया।
- मातृ एवं नवजात टेटनस (MNTE):
- अप्रैल 2015 में भारत ने वैश्विक लक्ष्य से पहले ही MNTE का उन्मूलन कर लिया।
- यॉज-मुक्त:
- भारत विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) द्वारा आधिकारिक रूप से यॉज-मुक्त मान्यता प्राप्त करने वाला पहला देश बना। यॉज एक जीवाणु संक्रमण है जो त्वचा, हड्डी और उपास्थि को प्रभावित करता है।
- चेचक:
- भारत ने 1977 में चेचक का उन्मूलन कर लिया।
- कुष्ठ रोग:
- 2005 में भारत में कुष्ठ रोग का उन्मूलन हुआ।
- काला-अजार:
- भारत काला-अजार को सार्वजनिक स्वास्थ्य समस्या के रूप में समाप्त करने के करीब है। WHO प्रमाणन के लिए भारत को दो वर्षों तक इस स्तर को बनाए रखना है।
विश्व टीकाकरण दिवस: समर्थन के प्रभावी तरीके
शिक्षा और जागरूकता फैलाएं: टीकाकरण के फायदों के बारे में लोगों को शिक्षित करें।
स्थानीय टीकाकरण अभियान का सहयोग करें: अपने समुदाय में टीकाकरण ड्राइव में भाग लें और इसे समर्थन दें।
स्वयं टीकाकरण करवाएं: टीके लगवाकर खुद की और आसपास के लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करें।
स्वास्थ्य विशेषज्ञों से परामर्श करें: टीकाकरण के महत्व पर डॉक्टरों और स्वास्थ्य विशेषज्ञों से जानकारी प्राप्त करें।
जन-प्रभावी व्यक्तियों को जोड़ें: सार्वजनिक हस्तियों के सहयोग से अधिक लोगों में जागरूकता फैलाएं।
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