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हाइड्रोजन-चालित ट्रेन परियोजना (Hydrogen-powered train project) | Ankit Avasthi Sir

Hydrogen-powered train project

Hydrogen-powered train project

संदर्भ:

हाल ही में भारतीय रेल ने चेन्नई स्थित इंटेग्रल कोच फैक्ट्री (ICF) में अपने पहले हाइड्रोजन संचालित कोच का सफल परीक्षण किया। यह परीक्षण भारत को हरित ऊर्जा की दिशा में अग्रसर करने और रेलवे को पर्यावरण-अनुकूल बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर माना जा रहा है।

(Hydrogen-powered train project) हाइड्रोजनचालित ट्रेन परियोजना: प्रमुख तथ्य

परियोजना का उद्देश्य: भारतीय रेल के ग्रीनहाउस गैस उत्सर्जन को कम करने और नवीकरणीय ऊर्जा के उपयोग को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम।

प्रमुख घटक (Components)

  • 1600 हॉर्सपावर (HP) के दो पारंपरिक डीजल पॉवर कारों को हाइड्रोजन फ्यूल सेल आधारित ट्रैक्शन सिस्टम में बदला जाएगा।
  • हाइड्रोजन फ्यूलिंग स्टेशन की स्थापना: जिंद (हरियाणा) में।

विकास और निर्माण

  • विकासकर्ता: Research Designs and Standards Organisation (RDSO)
  • निर्माता: Integral Coach Factory (ICF), चेन्नई

बजट और अवसंरचना

  • कुल बजट: ₹136 करोड़
  • हाइड्रोजन फ्यूलिंग सुविधा:
    • क्षमता: 3,000 किलोग्राम
    • स्थान: जिंद, हरियाणा
    • संचालन: Petroleum Explosives Safety Organisation (PESO) के मानकों के अनुसार

संचालन योजना (Operational Plan)

  • कुल कोच: 10 कोच
  • यात्री क्षमता: 2600 से अधिक
  • रूट: जिंद से सोनीपत के बीच दो राउंड ट्रिप (कुल दूरी: 356 किमी)

सुरक्षा व्यवस्था (Built-in Safety Systems)

  • हाइड्रोजन की ज्वलनशीलता को ध्यान में रखते हुए शामिल सुविधाएँ:
    • प्रेशर रिलीफ वाल्व
    • लीक और फ्लेम डिटेक्शन सेंसर
    • तापमान निगरानी प्रणाली
    • संगठित वेंटिलेशन सिस्टम

हाइड्रोजन फ्यूल सेल आधारित ट्रैक्शन सिस्टम: एक परिचय

परिभाषा: Hydrogen Fuel Cell-based Traction System एक ऐसी प्रणोदन तकनीक है जिसमें हाइड्रोजन फ्यूल सेल द्वारा उत्पन्न बिजली का उपयोग इलेक्ट्रिक ट्रैक्शन मोटर्स को चलाने में किया जाता है।

 

कार्यप्रणाली (Working Mechanism)

  1. हाइड्रोजन फ्यूल सेल का संचालन
    • हाइड्रोजन (H₂) और ऑक्सीजन (O₂) को मिलाकर बिजली उत्पन्न की जाती है।
    • उत्पन्न उपउत्पाद: केवल पानी और गर्मी
  2. बिजली का उपयोग: यह बिजली ट्रैक्शन कन्वर्टर और मोटर्स को शक्ति देती है, जिससे ट्रेन आगे बढ़ती है।
  3. बैटरी सिस्टम
    • अतिरिक्त ऊर्जा या रेजनरेटिव ब्रेकिंग के दौरान उत्पन्न ऊर्जा को संग्रहित करता है।
    • यह ऊर्जा पीक लोड की स्थिति में उपयोग की जाती है।

विशेषताएं और लाभ (Features & Benefits)

  • शून्य उत्सर्जन (Zero Emission): केवल पानी और गर्मी निकलती है।
  • ऊर्जा दक्षता: रेजेनरेटिव ब्रेकिंग से ऊर्जा की पुनः प्राप्ति।
  • कम ध्वनि प्रदूषण: पारंपरिक डीज़ल इंजनों की तुलना में शांत संचालन।
  • सतत ऊर्जा समाधान: नवीकरणीय स्रोतों से प्राप्त हाइड्रोजन का उपयोग संभव।

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