Impeachment of Chief Election Commissioner
Impeachment of Chief Election Commissioner –
संदर्भ:
विपक्षी दलों के गठबंधन INDIA ब्लॉक ने मुख्य चुनाव आयुक्त (CEC) ज्ञानेश कुमार को हटाने के लिए प्रस्ताव लाने पर विचार-विमर्श शुरू किया है। हाल ही में उनकी प्रेस कॉन्फ्रेंस और कथित राजनीतिक रूप से प्रभावित बयानों ने इस विवाद को और गहरा कर दिया है, जिससे चुनाव आयोग की निष्पक्षता और स्वतंत्रता पर गंभीर सवाल उठ रहे हैं।
निर्वाचन आयुक्तों की नियुक्ति (Appointment of Election Commissioners):
संवैधानिक प्रावधान:
- अनुच्छेद 324: निर्वाचन आयोग में मुख्य निर्वाचन आयुक्त (CEC) और राष्ट्रपति द्वारा तय की गई संख्या में निर्वाचन आयुक्त (ECs) होंगे।
वैधानिक प्रावधान:
- मुख्य निर्वाचन आयुक्त और अन्य निर्वाचन आयुक्त (नियुक्ति, सेवा की शर्तें और कार्यकाल) अधिनियम, 2023 इनके नियुक्ति, कार्यकाल और सेवा शर्तों को नियंत्रित करता है।
नियुक्ति करने वाला प्राधिकारी:
- भारत के राष्ट्रपति, जिन्हें सुझाव देता है एक तीन सदस्यीय चयन समिति:
- प्रधानमंत्री
- लोकसभा में विपक्ष के नेता
- केंद्रीय मंत्रिपरिषद का एक मंत्री
खोज समिति (Search Committee):
- कानून मंत्री की अध्यक्षता में गठित।
- यह उम्मीदवारों की सूची तैयार कर चयन समिति को देती है।
पात्रता (Eligibility):
- ऐसे व्यक्ति जिन्हें केंद्र सरकार में सचिव स्तर या उससे ऊपर का पद मिला हो या मिल चुका हो।
कार्यकाल और पुनर्नियुक्ति:
- कार्यकाल: 6 वर्ष या 65 वर्ष की आयु तक, जो पहले हो।
- पुनर्नियुक्ति नहीं की जा सकती।
- यदि कोई EC, CEC बनता है तो कुल कार्यकाल 6 वर्ष से अधिक नहीं होगा।
वेतन और सेवा शर्तें:
- वेतन, भत्ते और पेंशन कैबिनेट सचिव के बराबर।
निर्वाचन आयुक्तों की भूमिकाएँ और कार्य:
- संसद, राज्य विधानमंडलों, राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति के चुनाव का संचालन।
- सामान्य चुनाव नियमबनाना।
- निर्वाचन क्षेत्रों का निर्धारणऔर मतदाता सूची तैयार करना।
- राजनीतिक दलों कोमान्यता और चुनाव चिह्न देना।
- चुनाव की तिथियाँ तय करनाऔर मतदान अधिकारियों की नियुक्ति।
- आदर्श आचार संहिताऔर अन्य चुनावी नियमों का पालन सुनिश्चित करना।
निर्वाचन आयुक्तों को हटाने की प्रक्रिया:
संवैधानिक प्रावधान:
- अनुच्छेद 324(5):
- CEC को केवल उन्हीं कारणों और प्रक्रिया से हटाया जा सकता है जैसे सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश को हटाया जाता है।
- ECs को राष्ट्रपति केवल CEC की सिफारिश पर हटा सकते हैं।
वैधानिक प्रावधान:
- अनुच्छेद 11(2), अधिनियम 2023: संविधान की सुरक्षा व्यवस्था को दोहराता है।
हटाने के आधार:
- सिद्ध दुराचार (Proved Misbehaviour)– भ्रष्टाचार, पद का दुरुपयोग, कर्तव्यों के विपरीत कार्य।
- अक्षम्यता (Incapacity)– कर्तव्यों को निभाने में असमर्थता।