Apni Pathshala

राष्ट्रीय विद्युत योजना (ट्रांसमिशन)

Download Today Current Affairs PDF

राष्ट्रीय विद्युत योजना (ट्रांसमिशन)

भारत सरकार ने 2030 तक 500 गीगावाट और 2032 तक 600 गीगावाट से अधिक अक्षय ऊर्जा स्थापित करने के लक्ष्य के साथ एक विस्तृत राष्ट्रीय विद्युत योजना (ट्रांसमिशन) तैयार की है। यह योजना केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण (CEA) द्वारा विभिन्न हितधारकों के साथ परामर्श के बाद तैयार की गई है। इसका उद्देश्य अक्षय ऊर्जा के ट्रांसमिशन को सक्षम करना और इस क्षेत्र में आवश्यक भंडारण प्रणालियों को ध्यान में रखना है।

मुख्य बिंदु:

  1. भंडारण प्रणालियों की आवश्यकता:
    • 47 गीगावाट बैटरी ऊर्जा भंडारण प्रणाली और 31 गीगावाट पंप भंडारण संयंत्र का विकास।
    • यह प्रणालियां अक्षय ऊर्जा के साथ जोड़ी जाएंगी।
  2. ग्रीन हाइड्रोजन/ग्रीन अमोनिया केंद्रों तक ट्रांसमिशन:
    • मुंद्रा, कांडला, गोपालपुर, पारादीप, तूतीकोरिन, विजाग, मैंगलोर जैसे तटीय स्थानों पर स्थापित ग्रीन हाइड्रोजन और ग्रीन अमोनिया केंद्रों तक बिजली पहुंचाने की योजना बनाई गई है।
  3. ट्रांसमिशन नेटवर्क का विस्तार:
    • 2022-23 से 2031-32 तक 1,91,000 सीकेएम से अधिक ट्रांसमिशन लाइनों का विस्तार।
    • 1270 जीवीए परिवर्तन क्षमता को जोड़ने की योजना है।
    • 33 गीगावाट एचवीडीसी बाई-पोल लिंक की स्थापना।
    • अंतर-क्षेत्रीय ट्रांसमिशन क्षमता को 2032 तक 168 गीगावाट तक बढ़ाने का लक्ष्य।
  4. अंतर्राष्ट्रीय कनेक्शन:
    • नेपाल, भूटान, म्यांमार, बांग्लादेश, श्रीलंका के साथ सीमा पार इंटरकनेक्शन।
    • सऊदी अरब और संयुक्त अरब अमीरात के साथ संभावित ट्रांसमिशन कनेक्शन।
  5. नई प्रौद्योगिकी विकल्प:
    • हाइब्रिड सबस्टेशन, मोनोपोल संरचनाएं, डायनेमिक लाइन रेटिंग, हाई परफॉर्मेंस कंडक्टर।
    • ऑपरेटिंग वोल्टेज को 1200 केवी एसी तक अपग्रेड करने की योजना।
    • ट्रांसमिशन सेक्टर में कौशल विकास।

निवेश के अवसर: 2032 तक ट्रांसमिशन सेक्टर में 9,15,000 करोड़ रुपये से अधिक के निवेश का अनुमान है। यह योजना निजी और सार्वजनिक निवेशकों के लिए एक बड़ा अवसर प्रदान करती है।

केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण (CEA) के बारे में :

केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण (CEA) की स्थापना पहले विद्युत (आपूर्ति) अधिनियम, 1948 के तहत की गई थी, जिसे बाद में विद्युत अधिनियम 2003 द्वारा प्रतिस्थापित किया गया। इसका उद्देश्य देश के विद्युत क्षेत्र की समग्र योजना और विकास में योगदान देना है।

मुख्य बिंदु:

  1. संरचना:
    • CEA में अधिकतम 14 सदस्य होते हैं, जिनमें से एक अध्यक्ष होता है।
    • इनमें से अधिकतम 8 सदस्य केंद्र सरकार द्वारा नियुक्त पूर्णकालिक होते हैं।
  2. कार्य:
    • राष्ट्रीय विद्युत नीति और योजनाओं पर केंद्र सरकार को सलाह देना।
    • तकनीकी मानकों को निर्दिष्ट करना, जैसे विद्युत संयंत्रों, लाइनों, और ग्रिड कनेक्टिविटी के निर्माण के लिए आवश्यक मानक।
    • विद्युत उत्पादन, पारेषण, और वितरण से संबंधित सुरक्षा उपायों को सुनिश्चित करना।

निष्कर्ष: यह योजना भारत के ऊर्जा क्षेत्र में एक क्रांतिकारी बदलाव लाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। अक्षय ऊर्जा के बढ़ते महत्व को देखते हुए, ट्रांसमिशन नेटवर्क का यह विस्तार भारत के ऊर्जा सुरक्षा और स्वच्छ ऊर्जा लक्ष्यों को प्राप्त करने में सहायक होगा।

Explore our Books: https://apnipathshala.com/product-category/books/

Explore Our test Series: https://tests.apnipathshala.com/

Share Now ➤

क्या आपको Apni Pathshala के Courses, RNA PDF, Current Affairs, Test Series और Books से सम्बंधित कोई जानकारी चाहिए? तो हमारी विशेषज्ञ काउंसलर टीम आपकी सिर्फ समस्याओं के समाधान में ही मदद नहीं करेगीं, बल्कि आपको व्यक्तिगत अध्ययन योजना बनाने, समय का प्रबंधन करने और परीक्षा के तनाव को कम करने में भी मार्गदर्शन देगी।

Apni Pathshala के साथ अपनी तैयारी को मजबूत बनाएं और अपने सपनों को साकार करें। आज ही हमारी विशेषज्ञ टीम से संपर्क करें और अपनी सफलता की यात्रा शुरू करें

📞 +91 7878158882

Related Posts

Scroll to Top